सर्दी-जुकाम व बुखार में कारगर हैं ये आयुर्वेदिक काढ़े (These Ayurvedic decorations are effective in colds and fever)
काढ़ा एक आयुर्वेदिक पेय पदार्थ है, जो कई तरह की घरेलू औषधियों को मिलाकर तैयार किया जाता है। इसके सेवन से शरीर में रोग प्रतिरोधक क्षमता बढ़ती है। इससे मौसमी बीमारियों से बचने में मदद मिलती है। दरअसल काढ़ा शरीर का इम्यून सिस्टम मजबूत करता है यानी बीमारियों से लड़ने की ताकत प्रदान करता है। तो आइए हम आपको मौसमी बीमारियों विशेषकर सर्दी, जुकाम, बुखार आदि से बचने के लिए कुछ ऐसे आयुर्वेदिक काढ़ों के बारे में बताते हैं, जिन्हें खुद घर पर भी बना सकते हैं।
, काढ़ा पाचन सुधारता है, बीमारियों से लड़ने की ताकत देता है, बुखार दूर भगाता है और डायबिटीज में भी फायदा होता है। सबसे बड़ी खूबी है कि ये काढ़ा शरीर को अंदर से मजबूत करते हैं।
अदरक और गुड़ का काढ़ा (These Ayurvedic decorations are effective in colds and fever)
उबलते पानी में बारिक पिसी हुई लौंग, काली मिर्च, इलायची, अदरक और गुड़ डालें। इसे कुछ देर तक अच्छा उबलने दें और फिर इसमें कुछ तुलसी की भी पत्तियां भी डाल दें। जब पानी उबलकर आधा हो जाए तो छानकर पीना चाहिए। इसे बिल्कुल ठंडा करके नहीं पीना चाहिए।
काली मिर्च व नींबू का काढ़ा (These Ayurvedic decorations are effective in colds and fever)
एक चम्मच काली मिर्च और चार चम्मच नींबू का रस एक कप पानी में मिलाकर गर्म करें। और इसे रोज सुबह पीना चाहिए। इसके ठंडा होने पर शहद भी डालकर पीया जा सकता है। इस काढ़े से सर्दी-जुकाम में आराम मिलता है और शरीर में अवांछित वसा भी कम हो जाती है। शरीर में ताजगी व स्फूर्ति महसूस होती है।
अजवाइन व गुड़ का काढ़ा (These Ayurvedic decorations are effective in colds and fever)
एक ग्लास पानी को अच्छी तरह उबाल लें। जब पानी अच्छी तरह उबलने लगे तो इसमें थोड़ा सा गुड़ और आधा चम्मच अजवाइन मिला लें। जब पानी आधा हो जाए तो इसे छानकर पीएं। अजवाइन पाचन क्रिया को ठीक करने में काफी मदद करती है और साथ ही गैस या अपच जैसी समस्या भी इससे दूर होती है। इस काढ़े को पीने से खांसी और पेट दर्द की समस्या दूर होती है।
दालचीनी का काढ़ा है बड़े काम का (These Ayurvedic decorations are effective in colds and fever)
हमारे किचन में आमतौर पर उपयोग में आने वाली दालचीनी एक बड़े काम की औषधि है। इससे भी काढ़ा बनाया जा सकता है। एक ग्लास पानी में आधा चम्मच दालचीन डालकर धीमी आंच पर 10 मिनट तक गर्म करें। ठंडा होने के बाद इसमें थोड़ा सा शहद मिलाकर उपयोग करें। सर्दी जुकाम व खांसी में इससे लाभ तो मिलता है। साथ ही यह दिल के रोगियों के लिए भी काफी फायदेमंद है। दिल के रोगियों या ऐसे लोग जिनका कॉलेस्ट्रोल काफी बढ़ा हुआ है, उन्हें दालचीनी का सेवन रोज करना चाहिए।
लौंग-तुलसी और काला नमक का काढ़ा (These Ayurvedic decorations are effective in colds and fever)
सर्दी-खांसी और ब्रोंकाइटिस के मरीजों में लिए यह काढ़ा बड़े काम का है। इसके सेवन से जोड़ों के दर्द में भी काफी आराम मिलता है। इसे बनाने के लिए धीमी आंच पर दो गिलास पानी में 10-15 तुलसी की पत्तियों डालकर उबालें, साथ ही इसमें 4-5 लौंग भी पीसकर डाल दें। जब यह पानी उबलकर आधा हो जाए तो इसे छानकर पीएं। इससे शरीर का इम्यून सिस्टम बढ़ता है।
इलायची व शहद का काढ़ा (These Ayurvedic decorations are effective in colds and fever)
सर्दी जुकाम में आमतौर पर लोगों को सांस लेने में काफी दिक्कत होती है। सांस की परेशानी होने पर इलायची और शहद मिलाकर भी काढ़ा तैयार किया जा सकता है। इसमें थोड़ी मात्रा में पिसी काली मिर्च भी मिलाई जा सकती है। इस काढ़े में मौजूद एंटी ऑक्सीडेंट तत्व दिल की बीमारी का खतरा कम करते हैं। इसे बनाने के लिए धीमी आंच पर एक बर्तन में दो कप पानी गर्म करें और उसमें आधा चम्मच इलायची पाउडर मिलाकर 10 मिनट उबालें। फिर इसमें शहद मिलाकर सेवन करें।
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